प्रभु मेरो मन ऐसो है जावै – प्रार्थना
Prabhu Mero Man Aiso Hai Jaavai Lyrics
प्रभु ! मेरो मन ऐसो है जावै ।
विषयनको बिष सगरो उत्तरै, पुनि नहि कबहूँ छावै ।।
बिनसै सकल कामना मनकी, अनत न कतहूँ धावै ।
निरखत निरत निरंतर माधुरि, स्याम मुरति सुख पावै ॥
कामी जिमि कामिनि-सँग चाहै, लोभी धन मन लावै ।
तिमि अविरत निज प्रियतमकी सुधि, छिन इक नहिं बिसरावै ॥
ममता सकल जगतकी छूटै, मधुर स्याम छबि भावै ।
तव आनन-सरोज-रस चाखन मन मधुकर बनि जावै ॥



