29.2 C
Gujarat
मंगलवार, सितम्बर 23, 2025

काशी पंचकम

Post Date:

Kashi Panchakam In Hindi

काशी पंचकम(Kashi Panchakam) काशी के पवित्र धार्मिक स्थल हैं जो विशेष रूप से भगवान शिव से जुड़े हुए हैं। ये पांच प्रमुख स्थान हैं जिन्हें ‘पंचकम’ कहा जाता है। काशी, जिसे वाराणसी भी कहा जाता है, हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण तीर्थ स्थल है, और यहां के पंचकम स्थल श्रद्धालुओं के लिए अत्यंत पवित्र माने जाते हैं। इन स्थलों की यात्रा से व्यक्ति को शांति और मोक्ष की प्राप्ति होती है। काशी पंचकम के बारे में पांच प्रमुख स्थान इस प्रकार हैं:

  1. काशी विश्वनाथ मंदिर: काशी का सबसे प्रसिद्ध और पवित्र मंदिर है, जो भगवान शिव को समर्पित है। यह मंदिर काशी के केंद्र में स्थित है और यहां हर साल लाखों श्रद्धालु पूजा-अर्चना के लिए आते हैं। काशी विश्वनाथ मंदिर का दर्शन करने से व्यक्ति को अपार पुण्य की प्राप्ति होती है और यह मोक्ष की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जाता है।
  2. अनवस कूप: यह कूप काशी में स्थित एक पवित्र जल स्रोत है। यह कूप माना जाता है कि यहां से जल लेने से सभी प्रकार के पाप समाप्त हो जाते हैं और आत्मा को शांति मिलती है। यह कूप विशेष रूप से मंदिर के पास स्थित है और श्रद्धालु यहां जल भरने के लिए आते हैं।
  3. शंख क्षेत्र: यह स्थान काशी में बहुत ही महत्वपूर्ण है। इसे ‘शंख क्षेत्र’ कहा जाता है क्योंकि यह जगह समुद्र के शंख से जुड़ी हुई मानी जाती है। यह स्थान आध्यात्मिक रूप से बहुत प्रभावशाली है और यहां पूजा करने से मानसिक शांति मिलती है।
  4. लक्ष्मी नारायण मंदिर: यह मंदिर भगवान विष्णु और लक्ष्मी माता को समर्पित है। काशी में स्थित इस मंदिर में श्रद्धालु दर्शन करने के लिए आते हैं। यह स्थल धन और समृद्धि की देवी लक्ष्मी के आशीर्वाद की प्राप्ति के लिए महत्वपूर्ण माना जाता है।
  5. शिवाला गेट: यह गेट काशी के ऐतिहासिक और धार्मिक स्थलों में से एक है। यहां से काशी विश्वनाथ मंदिर की ओर जाने वाले मार्ग की शुरुआत होती है। यह गेट धार्मिक यात्रियों के लिए एक महत्वपूर्ण स्थान है और यहां से दर्शन करने से काशी के अन्य पवित्र स्थलों का दर्शन भी होता है।

Kashi Panchakam काशी पंचकम

मनोनिवृत्तिः परमोपशान्तिः
सा तीर्थवर्या मणिकर्णिका च।
ज्ञानप्रवाहा विमलादिगङ्गा
सा काशिकाऽहं निजबोधरूपा।
यस्यामिदं कल्पितमिन्द्रजालं
चराचरं भाति मनोविलासम्।
सच्चित्सुखैका परमात्मरूपा
सा काशिकाऽहं निजबोधरूपा।
कोशेषु पञ्चस्वधिराजमाना
बुद्धिर्भवानी प्रतिदेहगेहम्।
साक्षी शिवः सर्वगतोऽन्तरात्मा
सा काशिकाऽहं निजबोधरूपा।
काश्यां हि काशते काशी काशी सर्वप्रकाशिका।
सा काशी विदिता येन तेन प्राप्ता हि काशिका।
काशीक्षेत्रं शरीरं त्रिभुवनजननी व्यापिनी ज्ञानगङ्गा
भक्तिः श्रद्धा गयेयं निजगुरुचरणध्यानयोगः प्रयागः।
विश्वेशोऽयं तुरीयं सकलजनमनःसाक्षिभूतोऽन्तरात्मा
देहे सर्वं मदीये यदि वसति पुनस्तीर्थमन्यत्किमस्ति।

इन पंचकम स्थलों के दर्शन और पूजा से व्यक्ति को आत्मिक शांति, पुण्य, और मोक्ष की प्राप्ति होती है। काशी पंचकम का महत्व न केवल धार्मिक दृष्टिकोण से है, बल्कि यह सांस्कृतिक और ऐतिहासिक दृष्टि से भी अत्यंत महत्वपूर्ण है।

कोई जवाब दें

कृपया अपनी टिप्पणी दर्ज करें!
कृपया अपना नाम यहाँ दर्ज करें

Share post:

Subscribe

Popular

More like this
Related

હો દેવી અન્નપૂર્ણા | Ho Devi Annapurna

હો દેવી અન્નપૂર્ણા | Ho Devi Annapurnaમાં શંખલ તે...

ऋग्वेद हिंदी में

ऋग्वेद हिंदी में | Rigveda in Hindiऋग्वेद (Rigveda in...

गजेंद्र मोक्ष स्तोत्र – श्री विष्णु (Gajendra Moksham Stotram)

गजेंद्र मोक्ष स्तोत्र - Gajendra Moksham Stotramश्रीमद्धागवतान्तर्गत गजेन्द्रकृत भगवानका...

श्री शनि चालीसा

Shani Chalisaशनि चालीसा हिंदू धर्म में एक लोकप्रिय प्रार्थना...
error: Content is protected !!