श्री गणपति द्वादश नाम स्तोत्रम् पद्मपुराणांतर्गतं – Ganpati Dwadash Naam Stotram
श्री गणपति द्वादश नाम स्तोत्रम् पद्मपुराण से लिया गया एक महत्वपूर्ण स्तोत्र है, जिसमें भगवान श्री गणेश के 12 पवित्र नामों का उल्लेख है। इस स्तोत्र का पाठ गणेश भक्तों द्वारा विशेष रूप से किया जाता है, क्योंकि इसका धार्मिक और आध्यात्मिक महत्व अत्यधिक माना जाता है। गणेश जी को विघ्नहर्ता, सुखदाता और बुद्धि के देवता माना जाता है, और इस स्तोत्र का नियमित रूप से पाठ करने से व्यक्ति को ज्ञान, बुद्धि, समृद्धि और सभी प्रकार के विघ्नों से मुक्ति प्राप्त होती है।
पद्मपुराण में गणेश पूजा का महत्व
पद्मपुराण हिन्दू धर्म के अठारह महापुराणों में से एक है, और इसमें कई धार्मिक अनुष्ठान, कथाएँ, और स्तोत्र शामिल हैं। इस पुराण में भगवान विष्णु और शिव की महिमा के साथ-साथ गणेश जी की पूजा का महत्व भी बताया गया है। पद्मपुराण में वर्णित श्री गणपति द्वादश नाम स्तोत्रम् का पाठ करने से भगवान गणेश की विशेष कृपा प्राप्त होती है। ऐसा माना जाता है कि इस स्तोत्र का पाठ करने से जीवन के सभी कष्ट और विघ्न समाप्त हो जाते हैं, और व्यक्ति को सुख-शांति, धन-धान्य और आरोग्य की प्राप्ति होती है।
श्री गणपति द्वादश नाम स्तोत्रम्
यह स्तोत्र भगवान गणेश के बारह नामों पर आधारित है, जिनके उच्चारण से हर प्रकार के संकट से मुक्ति मिलती है। इन बारह नामों को सुनने और स्मरण करने से व्यक्ति के जीवन में सुख, समृद्धि और शांति का वास होता है। नीचे इस स्तोत्र के श्लोक और उनके अर्थ दिए गए हैं:
श्लोक:
गणपतिर्विघ्नराजो लंबतुण्डो गजाननः
द्वैमातुरश्च हेरंब एकदंतो गणाधिपः
विनायकश्चारुकर्णः
पशुपालो भवात्मजः ॥१॥
द्वादशैतानि नामानि
प्रातरुत्थाय यः पठेत् ।
विश्वं तस्य भवेद्वश्यं
नच विघ्नं भवेत् क्वचित् ॥२॥
महाप्रेताः शमं
यान्ति पीड्यते व्याधिभिर्न च ।
सर्वपापाद्विनिर्मुक्तोह्यक्षयं
स्वर्गमश्नुते ॥३॥
श्री गणपति द्वादश नाम स्तोत्रम् पाठ के लाभ
- विघ्नों का नाश: इस स्तोत्र का नियमित पाठ करने से व्यक्ति के जीवन में आने वाले सभी विघ्न और बाधाएँ दूर हो जाती हैं।
- संकटों से मुक्ति: यह स्तोत्र संकट के समय में पाठ करने से व्यक्ति को कठिनाइयों से मुक्ति दिलाता है।
- शुभ कार्यों में सफलता: विद्यारम्भ, विवाह, यात्रा या किसी शुभ कार्य में इस स्तोत्र का पाठ करने से सफलता सुनिश्चित होती है।
- शांति और समृद्धि: भगवान गणेश की कृपा से व्यक्ति के जीवन में सुख, शांति और समृद्धि आती है।
- बुद्धि और विवेक: श्री गणपति के नामों का स्मरण करने से बुद्धि, विवेक और निर्णय क्षमता में वृद्धि होती है।
श्री गणपति द्वादश नाम स्तोत्रम् पाठ करने की विधि
- इस स्तोत्र का पाठ प्रतिदिन प्रातःकाल स्नान करके किया जाना चाहिए।
- विशेष रूप से गणेश चतुर्थी, संकट चतुर्थी, और अन्य शुभ अवसरों पर इस स्तोत्र का पाठ अति फलदायी माना जाता है।
- पाठ करते समय शुद्ध मन और श्रद्धा के साथ भगवान गणेश का ध्यान करना चाहिए।